जो मेरे ज़िक्र पर अब क़हक़हे लगाता है

By jamal-ehsaniFebruary 26, 2024
जो मेरे ज़िक्र पर अब क़हक़हे लगाता है
बिछड़ते वक़्त कोई हाल देखता उस का
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