चारों जानिब रची हुई है अश्कों की बू-बास

By jamal-ehsaniFebruary 26, 2024
चारों जानिब रची हुई है अश्कों की बू-बास
इस रस्ते से गुज़रे होंगे क़ाफ़िले हिजरत वाले
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