जहाँ की भीड़ में यकता दिखाई देता है
By puja-parastishFebruary 28, 2024
जहाँ की भीड़ में यकता दिखाई देता है
वो एक शख़्स जो प्यारा दिखाई देता है
कभी वो चाँद ज़मीं का मुझे है आता नज़र
कभी वो आइना रब का दिखाई देता है
वो ख़ामुशी भी है सुनता मिरी सदा की तरह
वो रूह भर से शनासा दिखाई देता है
वो साज़-ए-हस्ती की छिड़ती हुई कोई सरगम
लब-ए-हयात का बोसा दिखाई देता है
वो एक शख़्स जो प्यारा दिखाई देता है
कभी वो चाँद ज़मीं का मुझे है आता नज़र
कभी वो आइना रब का दिखाई देता है
वो ख़ामुशी भी है सुनता मिरी सदा की तरह
वो रूह भर से शनासा दिखाई देता है
वो साज़-ए-हस्ती की छिड़ती हुई कोई सरगम
लब-ए-हयात का बोसा दिखाई देता है
36105 viewsghazal • Hindi