हम हैं इंसान इस लिए लाज़िम है कि मुसलसल काम करें

By farhat-ehsasFebruary 6, 2024
हम हैं इंसान इस लिए लाज़िम है कि मुसलसल काम करें
कोई ख़ुदा तो नहीं हैं हम जो सातवें दिन आराम करें
हम तो हैं बंदे जान-ओ-बदन से आप के हुस्न के ताबे'दार
आप हैं आक़ा हम जैसे चाहे जितनों को ग़ुलाम करें


हम को तो 'आदत है रातों में जागने रोने गाने की
हम को हमारे हाल पे छोड़ें नींद न अपनी हराम करें
आप की आँखों से लफ़्ज़ों का रिज़्क़ उतरता है हम पर
आप जो चाहें सूखा रक्खें या बारिश इल्हाम करें


53692 viewsghazalHindi